हालात को देखते हुए जल्दी ही itbp बल की भर्ती प्रक्रिया बढ़ाये सरकार-रणबीर सिंह (महासचिवकॉनफैडरेसन आफ़ एक्स पैरामिलिट्री फोर्स वैलफेयर एसोसिएशन)


सिर्फ भर्ती ही नही बल्कि सुविधाओ और आधुनिक संसाधनों के अलावा बॉर्डर आउट पोस्ट की संख्या भी बढाना जरूरी…
नई दिल्ली:- पिछले कई महीनों से पड़ोसी मुल्कों से सरहदों पर तनातनी का माहौल है विशेष कर जब से चीन से रिश्तों में खटास पैदा हुआ है। खासकर बर्फीले हिमालय की लम्बी रेंज लद्दाख, उत्तराखंड, हिमाचल ओर सुदूर उत्तर पूर्व राज्यों सिक्किम,अरूणाचल प्रदेश तक साढ़े तीन हजार किलोमीटर से ज्यादा सीमा चीन से लगती है जिसकी चाक-चौबंद चौबंद सुरक्षा का बड़ा जिम्मा इंडो-तिब्बत बार्डर पुलिस के 34 हजार जवानों द्वारा किया जाता है, ओर इतनी बडी हजारों कि.मी. लम्बी सीमाओं पर तकरीबन 200 आउट पोस्ट (निगरानी) बनें है जिनका आपसी फासला 10 से 20 किलोमीटर तक का है। अब हम समझ सकते हैं कि कितना कठिन काम है इन ऊंचे-नीचे, कंटीले झाड़ीदार व बर्फीले पंद्रह से बीस हजार फीट ऊंचे पहाड़ों पर सुरक्षा करना।
कॉनफैडरेसन आफ़ एक्स पैरामिलिट्री फोर्स वैलफेयर एसोसिएशन महासचिव रणबीर सिंह ने हालात की गंभीरता को देखते हुए गृहमंत्रालय तुरंत प्रभाव से 15 नई आईटीबीपी बटालियन भर्ती प्रक्रिया शुरू करने की आवश्यकता पर बल दिया जाने को कहा है। इसके अलावा आने वाले पांच साल में 40 ओर नई बटालियन खोलने का फैसला इसी संसद सत्र में लिया जाना चाहिए। साथ ही बीओपी की संख्या बढ़ा कर तीन गुना की जाए ताकि इतने बड़े बर्फीले भू-भाग की सुरक्षित चौकीदारी की जा सके। इन सबके बीच फेडरेशन ने चीनी बल के मुकाबले itbp बल का आधुनिकीरण और आपात स्थिति से निपटने के लिए आवश्यक संसाधनों की अविलंब पूर्ति किए जाने की मांग की है।।
महासचिव ने ताजुब व्यक्त किया कि केंद्रीय अर्धसैनिक बलों के लिए 2018 में यूपीएससी व एसएससी (असिस्टेंट कमांडेंट व सिपाही जीडी) परीक्षा पास कर चुके युवाओं को कुछ सुरक्षा बलों द्वारा अभी तक नियुक्त पत्र नहीं भेजा गया जबकि सरहदों के हालातों को देखते हुए गृहमंत्रालय व संबंधित विभाग इन युवाओं को ट्रेनिंग के लिए तुरंत ज्वाइनिंग करवाएं इसमें कोई कोरोना को कारण ना बनाया जाए।
रणबीर सिंह
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