रायगढ़

एक मार्मिक अपील, घर से बाहर न निकलें,जीवन है तो सब है।:-रामचंद्र शर्मा

सिंहघोष/रायगढ़:-
एक कहावत है कि जीवन है तो ही बाकी सब है, वरना सब बेकार । इस बात को आगे बढ़ाते हुए कहना चाहता हू साथियों कि पूरे भारत में चारो ओर कोरोना ही कोरोना छाया हुआ है हमारे अपने शहर का भी यही हाल है हमारे अपने, हमारे बीच के लोग समय पूर्व ही काल के गाल में समाते जा रहे हैं। ऐसी स्थिति में हम सबको सतर्क होना होगा क्योंकि लगता है कि हम अभी भी नही समझ रहे हैं और हमको लगता है कि उसको हुआ पर मुझे न होगा इसी तर्ज पर सभी काम कर रहे जबकि ऐसा नहीं है अगर हम लोगों के संपर्क में आते हैं तो हमें भी होगा। मै पिछले दो तीन दिन से लगातार डॉक्टर्स के संपर्क में रहा जिससे निचोड़ यह निकला कि अभी इस वायरस से बचाव का एक ही उपाय है और वो है अपने अपने घर में रहना। देखता हूं कि कोई न कोई काम से व्यक्ति घर से निकल ही रहा है, जब उनसे पूछो तो कहते हैं कि सब्जी लेना है, दूध लेना है, फलाना सामान चाहिए आदि आदि या कोई कहता है कि ऑफिस जा रहा या घर में क्या करूंगा । एक बात समझ नहीं आती की जब जीवन रहेगा तो सब कुछ कर सकेंगे । क्या हम अपनें लिए, अपने परिवार के लिए, परिवार के लिए, देश के लिए अपने आप को 10 दिन के लिए खुद को घर पर नहीं रोक सकते, क्या हम इतने लापरवाह हो गए हैं कि अपनी ही जान के दुश्मन हो गए हैं। जब सभी बड़े बड़े डॉक्टर कह रहे तो हम क्यों न मान रहे। मेरा आप सभी से अनुरोध है कि घर पर रहें सुरक्षित रहे।
अगले दस दिनों में होगा कोरोना अपने पिक पर
डॉक्टर्स की राय में इस कोरोना की दूसरी लहर की पिक आने वाले दस दिनों में आ जायेगी मतलब ये दस से बारह दिन बहुत ज्यादा सावधानी रखने वाले दिन है। इसलिए हम सबके लिए जरूरी है कि सावधानी बरतें। एक बात और किसी बात के लिए सावधान रहने का मतलब डरना नहीं है साथियों समझदारी भी कोई चीज है। इसलिए आने वाले दो हफ्तों तक सावधानी बरतें घर पर रहे।
जाने वालों में कही हम शामिल न हो जाएं
साथियों ध्यान रखना की आप दुनिया के रजिस्टर में एक नंबर हो पर अपने परिवार के लिए आप सारी दुनिया हो। जिसके परिवार से कोई हताहत हो रहा उस बात का दर्द वही जानेगा, किसी के पिता, किसी का बेटा, किसी की बहन, कोई रिश्तेदार जा रहा। इस बात में लापरवाही भी शामिल हैं , आप सभी जानते हैं कि संसाधनों की एक सीमा है अगर अचानक 1000 लोग से ज्यादा पीड़ित आ जाएं तो व्यवस्था में दिक्कत आएगी ही इसके लिए दोषी कोई नही क्योंकि यह मुसीबत ही ऐसी है इसलिए इसका सबसे अच्छा उपाय है कि आप 100 प्रतिशत घर पर रहे ताकि जीवन सुरक्षित रहे। जो जा रहा उसका बहुत दुख है पर अभी जिसको बचा सकें वो बड़ी उपलब्धि होगी। इसलिए सभी से निवेदन है घर पर रहे सुरक्षित रहे।

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